417 भ्रष्ट कर्मियों के खिलाफ हुई सख्त कार्रवाई
लखनऊ, 4 जुलाई
सीएम योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश के नकारा एवं भ्रष्ट कर्मियों के खिलाफ चाबुक चला दिया है। योगी सरकार ने विभिन्न विभागों में कार्यरत 201 कर्मियों को जबरन सेवानिवृत्ति और 417 कर्मचारियों को कड़ा दंड दिया है। दंडित कर्मियों की वेतनवृद्धि एवं पदोन्नति रोक दी गई है और उन्हें पदावनत भी कर दिया गया है। योगी सरकार जल्द ही कुछ और नकारा कर्मियों की छंटनी करने जा रही है।
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बता दें कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पहले ही 50 साल से ऊपर के नकारा एवं भ्रष्ट सरकारी कर्मियों की स्क्रीनिंग करने का आदेश दिया था। स्क्रीनिंग प्रक्रिया पूरी होते ही इन भ्रष्ट कर्मियों के खिलाफ योगी सरकार ने जबरन सेवानिवृत्ति का फरमान जारी कर दिया। आदेश के बाद 31 मार्च 2017 से 19 मार्च 2018 के बीच इस तरह के नकारा कर्मचारियों की उनकी कार्यशैली के आधार पर रिपोर्ट तैयार की गई और अब इनके खिलाफ बड़े पैमाने पर कार्रवाई शुरू कर दी गई है।
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इनकी हुई जबरन छंटनी:
गृह विभाग : 51 कर्मचारी
राजस्व विभाग: 36 कर्मचारी
वित्त एवं वाणिज्य: 16 कर्मचारी
श्रम विभाग : 16 कर्मचारी
वन एवं वन्य जीव विभाग: 11
शेष अन्य विभागों में की गई जबरन छंटनी।
इन्हें मिली कड़ी सजा:
ऊर्जा विभाग : 169 कर्मचारी
परिवहन विभाग: 37
बेसिक शिक्षा: 26
पंचायती राज: 25
पीडब्ल्यूडी : 18
ग्राम विकास : 15
खाद्य एवं रसद: 15
दुग्ध विकास : 14
चीनी उद्योग: 11
बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग: 11
शेष अन्य विभाग
पुलिस कर्मियों की भी छंटनी:
योगी सरकार इसी तरह की जबरन छंटनी पुलिस विभाग में भी करने जा रही है। पुलिस विभाग में भी नकारा एवं भ्रष्ट कर्मियों की स्क्रीनिंग की जा रही है।
लखनऊ हाईकोर्ट के अधिवक्ता नंद किशोर पटेल कहते हैं, ‘यह एक सराहनीय पहल है, लेकिन यह एक संवेदनशील मामला भी है, किसी परिवार की रोजी-रोटी से जुड़ा विषय है। ऐसे में सरकार को यह सावधानी बरतनी होगी कि किसी कर्मचारी को किसी विद्वेष की भावना से नौकरी से न निकाला जाय।’