डीएम के तौर पर बांदा में पारंपरिक जल स्रोतों को किया पुर्नस्थापित, हर खेत में तालाब खोदने के लिए किसानों को प्रेरित किया
Heera Lal will receive National Water Award for outstanding work in Bundelkhand
यूपी80 न्यूज, लखनऊ
बुंदेलखंड में लोगों को जल संकट से निजात दिलाने के लिए किए गए उत्कृष्ट कार्य हेतु आईएएस अधिकारी हीरा लाल को ‘रजत की बूंदें’ राष्ट्रीय जल पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा। जल एवं पर्यावरण क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने के लिए प्रतिवर्ष नीर फाउंडेशन द्वारा दिए जाने वाले इस पुरस्कार के लिए हीरा लाल सहित देश के 7 लोगों का चयन किया गया है।
इन्हें मिलेगा राष्ट्रीय जल पुरस्कार:
हीरा लाल (आईएएस), बलबीर सिंह सींचेवाल (पंजाब), अतुल पटेरिया (पत्रकार), नीलम दीक्षित (महाराष्ट्र) शिव पूजन अवस्थी (मध्य प्रदेश), विनोद कुमार मेलाना (राजस्थान), उमाशंकर पाण्डेय (उत्तर प्रदेश)
हीरा लाल फिलहाल राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अपर निदेशक के तौर पर कार्य कर्यरत हैं। हीर लाल को यह पुरस्कार बुंदेलखंड के बांदा जनपद में डीएम रहते हुए पारंपरिक जल स्रोतों के उन्नयन एवं पानी के प्रति जनजागरूकता फैलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए 26 जुलाई को दिया जाएगा। उन्होंने किसानों को हर खेत में तालाब खोदने के लिए प्रेरित किया।
हीरा लाल कहते हैं कि जिस प्रकार से प्रतिवर्ष जल संकट गहराता जा रहा है, सतही व भू-जल प्रदूषित हो रहा है तथा छोटी व बरसाती नदियां प्रदूषण का शिकार हो चुकी हैं और मरणासन्न की स्थिति में हैं। यह भविष्य के लिए अच्छे संकेत नहीं हैं। जल को संरक्षित करने, प्राकृतिक जल संरचनाओं को संवारने, प्रदूषण की समस्या से निजात दिलाने और नदियों को पुनर्जीवित करने के प्रयासों को और भी गतिशील बनाए जाने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी के नेतृत्व में राज्य सरकार ने बुंदेलखंड के हर घर में नल से जल जैसी जनोपयोगी योजना शुरू की है। सरकार के इन प्रयासों में जन भागीदारी बढ़ाए जाने की प्रबल आवश्यकता है।