यूपी 80 न्यूज़, बलिया
बलिया Ballia में एडीजी ADG वाराणसी और डीआईजी DIG आज़मगढ़ ने संयुक्त कार्रवाई की है और ज़िले के नरही थाने में क़रीब डेढ़ करोड़ रुपये महीने की अवैध वसूली की बात सामने आई है।
एडीजी की टीम ने 22 लोगों को गिरफ्तार किया, जिसमें दो पुलिस वाले भी शामिल हैं। कई पुलिस वाले फ़रार बताए गये हैं। इन पुलिसकर्मियों पर आरोप है कि ये लोग ट्रकों से अवैध वसूली कर रहे थे।
कई दलाल भी थे जो बलिया के भरौली बार्डर पर ट्रकों को रोककर पहले तलाशी लेते थे फिर उनसे पैसे लेकर जाने देते थे।
पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव ने तो कल प्रेस कॉन्फ्रेंस में सरकार पर सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म एक्स पर लिखा है कि उत्तर प्रदेश में हो रहा है नया खेल: पहले होता था ‘चोर- पुलिस’और भाजपा राज में हो रहा है ‘पुलिस- पुलिस’। ये है अपराध के ख़िलाफ़ ज़ीरो टॉलरेंस का भंडाफोड़।
राज्य सरकार इसे भ्रष्टाचार के ख़िलाफ़ बड़ा क़दम बता रही है। सरकार ने बलिया में नए पुलिस अधीक्षक की तैनाती भी कर दी है। डीआईजी ने नए एसपी के साथ पुलिस महकमे की बैठक की है। बिहार के बक्सर से आने वाले ट्रक भरौली बॉर्डर से उत्तर प्रदेश में प्रवेश करते थे, लेकिन ट्रक ड्राइवरों से सांठगांठ की जाती थी। हर ट्रक से पैसा पहले तय कर लिया जाता था जो पुलिस को पैसे देता था वो ट्रक आसानी से पास हो जाता था। पुलिस के मुताबिक़ क़रीब 1000 ट्रक रोज़ाना इस बॉर्डर से पास होते हैं। डीआईजी ने ख़ुद बताया है कि हर ट्रक से 500 रुपये लिए जाते थे। भरौली बॉर्डर पर ये काम आज से नहीं हो रहा है, पुलिस अवैध वसूली करती रही है, पकड़े अब गए हैं।
वाराणसी ज़ोन के एडीजी पीयूष मोर्डिया Piyush Mordia और डीआईजी वैभव कृष्ण Vaibhav Krishna खलासी बनकर रात में 1.30 बजे ट्रक पर सवार हुए और यूपी-बिहार सीमा पर भरौली नाके पर अपनी टीम के साथ पहुंचे और जब पुलिसवालों ने ट्रक को रोककर पैसे मांगे तभी एडीजी के साथ चल रही टीम ने पुलिसवालों और दलालों को पकड़ लिया। एक्शन में पुलिस वाले ही निशाने पर थे। अचानक कार्रवाई से पुलिस के जवान और दरोगा भागने लगे, जिसमें नरही के थानाध्यक्ष फ़रार होने में कामयाब रहे, लेकिन कुछ लोग पकड़ लिए गए। नरही और कोरंटाडीह के थानाध्यक्षों को निलंबित कर दिया गया है।
डीजीपी प्रशांत कुमार DGP Prashant Kumar को शिकायत मिली थी कि बक्सर से आने वाले ट्रकों से अवैध वसूली की जा रही है। मामले में अहम सबूत के तौर पर दो नोटबुक भी मिली है जिसमें कई महीनों की वसूली का राज़ बंद है। नोटबुक की पड़ताल की जा रही है, जिसमें कई और नाम सामने आ सकते हैं। नरही थाने के इंचार्ज पन्नेलाल समेत नौ पुलिसवालों को निलंबित कर दिया गया है और सबके ख़िलाफ़ मुक़दमा भी लिख दिया गया है। अभियान की जानकारी बलिया के एसपी को भी नहीं दी गयी थी, ताकि किसी को भनक न लगे, बल्कि स्थानीय एसपी को भी रेड के बाद जानकारी मिली तो वो इसके बाद ही मौके पर पहुचे थे।
सरकार ने सीओ और निलंबित पुलिसवालों की सम्पतियों की विजिलेंस जांच कराने का फैसला किया है।