कारगिल विजय दिवस भाजपा ओबीसी मोर्चा ने गोष्ठी का आयोजन किया
कारगिल युद्ध के बहादुर जवानों को अंगवस्त्र भेंट कर सम्मानित किया गया
यूपी80 न्यूज, मिर्जापुर
कारगिल विजय दिवस पर भारतीय जनता पार्टी मीरजापुर के सभागार कक्ष में गोष्ठी का आयोजन किया गया। गोष्ठी में बतौर मुख्य अतिथि पूर्व क्षेत्रीय उपाध्यक्ष नागेन्द्र सिंह रघुवंशी रहे। गोष्ठी से पूर्व शहीद उद्यान लालडिग्गी पार्क में शहीद स्मारकों पर पुष्पांजलि का कार्यक्रम किया गया। तत्पश्चात् शहीदों के परिजनों एवं पूर्व सैनिकों को सम्मानित किया गया। इस अवसर पर शहीद केशरी सिंह की पत्नी छोटी कुंवर सिंह को दुशाला एवं स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया एवं कारगिल युद्ध में दुश्मन को मुँह तोड़ जवाब देने वाले बहादुर जवान त्रिभुवन पाण्डेय, जवाहर लाल विश्वकर्मा, राजेश शर्मा, सर्वजीत पाण्डेय, तेजबली सिंह एवं बनारसी जी को अंगवस्त्रम एवं स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया।

इस अवसर पर मुख्य अतिथि नागेन्द्र सिंह रघुवंशी ने कहा कि कारगिल युद्ध भारतीय सेना के शौर्य, साहस और समर्पण की अमर गाथा है। यह युद्ध 1999 में भारत और पाकिस्तान के बीच लड़ा गया था। पाकिस्तान की सेना और आतंकवादियों ने चोरी-छिपे भारत की सीमा में घुसपैठ कर कारगिल की पहाड़ियों पर कब्जा करने की कोशिश की थी। जब भारत को इस बात का पता चला तो हमारी वीर सेना ने पूरे जोश और वीरता के साथ दुश्मन को करारा जवाब दिया। इस युद्ध में हमारी सेना ने 18,000 फीट की ऊँचाई पर बेहद कठिन परिस्थितियों में लड़ाई लड़ी और एक-एक पोस्ट को दुश्मनों से मुक्त कराया और अंततः 26 जुलाई 1999 को भारत ने विजय प्राप्त की। इस युद्ध में हमारे कई जवान शहीद हुए, जिनमें कैप्टन विक्रम बत्रा, लेफ्टिनेंट मनोज पांडे जैसे वीरों का नाम हमेशा अमर रहेगा। इन बहादुर सैनिकों ने देश की रक्षा के लिए अपने प्राणों की आहुति दी और हमें यह सिखाया कि “देश सबसे पहले आता है”।

कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए भाजपा जिलाध्यक्ष बृजभूषण सिंह ने कहा कि वर्ष 1999 में युद्ध के दौरान वीरगति को प्राप्त हुए भारतीय सैनिकों की स्मृति में उनका सम्मान करने के लिए 26 जुलाई को कारगिल विजय दिवस के रूप में मनाया जाता है । युद्ध की समाप्ति के बाद इस महान युद्ध में अद्भुत शौर्य का परिचय देने वाले नायकों को वीरता पुरस्कार दिए गए और देश ने अपने रक्षा बजट में भी वृद्धि की। वर्ष 2000 में द्रास में कारगिल युद्ध स्मारक की स्थापना भारतीय सेना द्वारा वर्ष 1999 में ऑपरेशन विजय की सफलता की याद में बनाया गया था। वर्ष 2014 में इसका जीर्णोद्धार किया गया। इसे द्रास युद्ध स्मारक के रूप में भी जाना जाता है । राष्ट्रीय युद्ध स्मारक का उद्घाटन वर्ष 2019 में किया गया।
विधायक रत्नाकर मिश्रा ने कहा कि कारगिल युद्ध ने भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा ढांचे की समीक्षा को प्रेरित किया, जिससे पारदर्शिता बढ़ी और के.सुब्रमण्यम के नेतृत्व में कारगिल समीक्षा समिति की स्थापना हुई। रिपोर्ट ने खुफिया, सीमा और रक्षा प्रबंधन में कमियों को उजागर किया, जिससे सुरक्षा क्षेत्र में महत्वपूर्ण सुधार तथा संस्थागत परिवर्तन हुए। तकनीकी खुफिया क्षमताओं को बढ़ाने के लिये राष्ट्रीय तकनीकी अनुसंधान संगठन की स्थापना की गई । रक्षा खुफिया एजेंसी का गठन तीनों सेवाओं में खुफिया जानकारी के समन्वय हेतु किया गया था।
कार्यक्रम का संचालन कर रहे पिछड़ा मोर्चा जिलाध्यक्ष रामकुमार विश्वकर्मा ने कहा कि आज कारगिल युद्ध के 26 वर्ष पूरे हो चुके हैं । भारतीय जनता पार्टी की सरकार ने रक्षा के क्षेत्र में 01 रैंक 01 पेंशन देकर 20 लाख सैनिकों को लाभान्वित किया है। राष्ट्रीय युद्ध स्मारक बनाकर कारगिल युद्ध समेत सभी शहीदों को सम्मान देने का कार्य किया। सेना तेजी से काम करें इसके लिए सीमा सड़क संगठन के माध्यम से बॉर्डर पर इन्फ्रास्ट्रक्चर को मजबूती दी गयी – पुल, सड़के, सुरंग आदि। अटल टनल रोहतांग जैसी परियोजनाओं पर काम किया गया। राफेल फाइटर जेट डील भी भाजपा सरकार ने फाइनल करके वायु सेना की ताकत बढाने का काम किया है। शहीदों के परिजनों को आर्थिक सहायता व सम्मान कई राज्यों में भाजपा सरकार ने शहीदों के नाम पर स्कूल, पार्क, सड़कें नामित की है।
इस अवसर पर विधायक शुचिस्मिता मौर्या, अध्यक्ष नपाप मीरजापुर श्याम सुन्दर केशरी, अध्यक्ष नपाप अहरौरा ओम प्रकाश केशरी, अध्यक्ष डीसीबी जगदीश सिंह पटेल, जिला उपाध्यक्ष विपुल सिंह, दिनेश प्रताप सिंह, जिला महामंत्री रवि शंकर पाण्डेय, दिनेश वर्मा, जिलामंत्री कौशल श्रीवास्तव, हेमंत त्रिपाठी, नितिन गुप्ता, चिन्तामणि मौर्य, संजय यादव, प्रणेश प्रताप सिंह, जिला उपाध्यक्ष पिछड़ा मोर्चा विद्याशंकर मौर्य, धर्मराज विश्वकर्मा, नगर पश्चिमी मंडल अध्यक्ष नितिन विश्वकर्मा, सह मीडिया प्रभारी प्रणेश प्रताप सिंह जिला कार्यसमिति सदस्य श्याम सिंह के साथ सभी मंडलों के मंडल अध्यक्षगण एवं जिला पदाधिकारीगण उपस्थित रहे।