दिल्ली के 100 गांवों के प्रतिनिधियों व शहरी आरडब्ल्यूए के प्रतिनिधियों ने किसान आंदोलन का समर्थन किया
यूपी80 न्यूज, नई दिल्ली
नए कृषि कानून के तहत असीमित भंडारण की छूट से महंगाई बढ़ेगी और शहरी वर्ग को महंगाई की मार झेलनी पड़ेगी। पिछले 102 दिनों से दिल्ली की सीमाओं पर चल रहे किसान आंदोलन के समर्थन में रविवार को आयोजित बैठक में दिल्ली देहात और दिल्ली आरडब्ल्यूए के प्रतिनिधियों ने यह बात कही। बैठक में दिल्ली के 100 गांवों के प्रतिनिधियों और शहरी आरडब्ल्यूए ने मिलकर किसान आंदोलन के लिए अपना समर्थन घोषित किया। इस मौके पर आगे की रणनीति के लिए 21 लोगों की एक समिति का भी गठन किया गया। पंचायत की अध्यक्षता कैर गांव के सम्मानित व्यक्ति ओम प्रकाश सेहरावत ने की।
किसान आंदोलन के समर्थन में आयोजित इस बैठक में दिल्ली देहात के विभिन्न संगठन और ग्रामवासियों के साथ-साथ इस बार शहरी संगठन, आरडब्ल्यूए (CONRWA , Chetna, Save our city, Dwarka for farmers, Delhi for Farmers) ने हिस्सा लिया।
इन गांवों के प्रतिनिधियों ने बैठक में भाग ली:
मुंडका, बिजवासन, भरतल, मुंढेला, ढांसा, टिकरी कलां, नीलवाल, कराला, उजवा, ढिचाउं कला, झड़ोदा, धूर सिरस, मिलकपुर, इस्सापुर, खड़खड़ी रोंध, समसपुर, गालिबपुर, बाकरगढ़, कैर, मैदानगढ़ी, शादीपुर, बुरारी, दरयापुर, नंगली, मंगलापुरी, मुनिरका इत्यादि।
असीमित भंडारण की छूट से बढ़ेगी महंगाई:
बैठक में शामिल शहरी प्रतिनिधियों ने कहा कि असीमित भंडारण की छूट देने वाला कृषि कानून किसानों का नहीं बल्कि शहर की आम जनता को महंगाई में झोंक देगा। सेव अवर सिटी से राजीव ककरिया ने कहा कि हम किसान भाइयों का पूरा समर्थन करते हैं और करते रहेंगे। इसी तरह का समर्थन आरके पुरम से प्रसिद्ध विद्वान लोकेश कुमार ने किया। चेतना मंच के अनिल सूद ने आंदोलन के लिए आर्थिक सहयोग की घोषणा की। देलही फॉर फार्मर्स के नवनीत तिवारी ने समर्थन दिया।