धर्मेद्र मलिक ने कहा- साढ़े तीन सालों में आयोग की एक भी बैठक नहीं हुई, कृषि कानूनों पर आयोग केंद्र सरकार को नहीं भेजा सुझाव
यूपी80 न्यूज, लखनऊ
किसान नेता धर्मेंद्र मलिक ने ‘कृषक समृद्धि आयोग’ के सदस्य पद से इस्तीफा दे दिया है। धर्मेंद्र मलिक ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को भेजे अपने इस्तीफा पत्र में कहा है कि पिछले साढ़े तीन सालों के दौरान आयोग की एक भी बैठक नहीं हुई और न ही आयोग की तरफ से तीन नए कृषि कानूनों को लेकर भारत सरकार को कोई सुझाव भेजा गया।
धर्मेंद्र मलिक ने कहा है कि हाल में ही लाये गये तीन कृषि कानूनों को लेकर भारत सरकार और किसानों के बीच गतिरोध चल रहा है। पिछले तीन माह से किसानों ने कड़ाके की सर्दी में अपना समय सड़कों पर बिता दिया, लेकिन भारत सरकार आज तक कोई समाधान नहीं निकाल पायी।
ऐसे गम्भीर विषय पर भी कृषक समृद्धि आयोग की तरफ से भारत सरकार को कोई सुझाव नहीं भेजे गये और न ही हम इस विषय पर उत्तर प्रदेश के किसानों की राय संवाद के माध्यम से नहीं जान पाए। आयोग का गठन जिस उद्देश्य को लेकर किया गया था, आयोग वह उद्देश्य पूरे नहीं कर पाया है।
10 नवंबर 2017 को आयोग का हुआ था गठन:
किसान हितों को लेकर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी की अध्यक्षता में 10 नवम्बर 2017 को कृषक समृद्धि आयोग का गठन किया गया था। इस आयोग का उद्देश्य किसानों की समस्याओं की जानकारी कर समाधान करना था। आयोग में गैर सरकारी सदस्य एवं किसान संगठन के प्रतिनिधि के तौर पर धर्मेंद्र मलिक को नामित किया गया था।