यूपी80 न्यूज, मऊ/लखनऊ
उत्तरप्रदेश सरकार Uttar Pradesh Govt द्वारा बुनकरों के फ्लैट रेट के पासबुक को समाप्त करके बिल से भुगतान के लिए नया शासनादेश 4 दिसम्बर 2019 को जारी कर दिया है। लॉकडाउन Lockdown की वजह से पहले ही बुनकर उद्योग Weaver बुरी तरह से तबाह हो गया है। सरकार के इस फैसला के खिलाफ बुनकर Weaver एवं व्यापारी संगठन Traders एकजुट होने लगे हैं। अपनी मांगों को लेकर जल्द ही बुनकर एवं व्यापारी संगठन बड़ा आंदोलन शुरू करेंगे।
बुनकरों की दलील है कि पावरलूम उद्योग यूं ही कई सालों से खराब हालत से गुजर रहा है, ऐसी परिस्थिति में पावरलूम विद्युत बिल में मिलने वाली सब्सिडी समाप्त होने से इस उद्योग पर तबाही के संकट छा गए हैं। NRC और लाकडाउन के कारण बुनकर वैसे ही तबाह हो चुका है। इन सब समस्यायों को लेकर उत्तरप्रदेश बुनकर फोरम Uttar Pradesh Weavers Forum के अध्यक्ष पूर्व चेयरमन अरशद जमाल Ex Chairman Arshad Jamal द्वारा शनिवार को बुलाई गई महत्वपूर्ण बैठक में व्यापारी संगठनों, बुनकर संगठनों, किराना कमेटी और सूता कमेटी के अतरिक्त राजनैतिक दलों के पदाधिकारियों ने भी भाग लिया।
पूर्व चेयरमैन अरशद जमाल ने बताया कि अब तक प्रदेश स्तर के संगठन द्वारा अनेकों बार लखनऊ और बनारस तथा गोरखपुर में बैठक की जा चुकी है। कई बार मुख्यमंत्री जी, कपड़ा मंत्री और ऊर्जा मंत्री से मुलाकात करके अनुरोध किया जा चुका है, मगर कोई सुनने को तैयार नहीं है। विभाग द्वारा बुनकरों का उत्पीड़न आरम्भ हो चुका है।
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सभी जनपदों में चरणबद्ध तरीके से होगा आंदोलन:
बैठक में निर्णय लिया गया कि जब तक आंदोलन को गति नहीं दी जाएगी तब तक सरकार बुनकरों की कठिनाई को नहीं समझ पाएगी। बैठक में कहा गया कि अधिकारियों द्वारा बुनकरों के बारे में सरकार को भ्रामक सूचनाएं दी जाती है। बैठक में बताया गया कि सरकार 200 करोड़ रुपए बचाने के लिए 1000 करोड़ रुपए से अधिक GST का अपना नुकसान करेगी।
मांगों को लेकर बुनकर एवं व्यापारी संगठन सभी जनपदों में चरणबद्ध तरीके से आंदोलन करेंगे। सभी संगठन और राजनैतिक दलों का मानना है कि ये लड़ाई राजनैतिक नहीं है, इसलिए बुनकर उद्योग को बचाने के लिए सभी लोग अपने विवाद को भुलाकर एक साथ खड़े हो जाएं। अगर बुनाई उद्योग समाप्त हुआ तो यहां के दूसरे उद्योगों पर भी इसका खराब प्रभाव पड़ेगा। इसी मामले को लेकर एक सितंबर को बड़ी बैठक बुलायी गई है।
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मंहगी बिजली से लूम चलाना संभव नहीं:
बुनकरों और व्यापारियों का कहना था कि सरकार ने अगर ये बुनकर विरोधी फैसला वापस नहीं लिया तो मजबूर होकर अपना विद्युत कनेक्शन सामूहिक रूप से पीडी करा देंगे, क्यूंकि इतनी मंहगी बिजली का बिल देकर लूम चलाना संभव नहीं है। बुनकर अपने कारोबार को बन्द करके कोई दूसरा काम करके अपने परिवार का पालन पोषण करेंगे।
बैठक की अध्यक्षता व्यापार मण्डल के प्रदेश उपाध्यक्ष हाजी जफर अहमद जनता ने की और संचालन पूर्व चेयरमैन अरशद जमाल ने किया। बैठक में डॉक्टर राम गोपाल गुप्ता जिलाध्यक्ष व्यापार मण्डल मऊ, ब्रज भूषण गुप्ता अध्यक्ष किराना कमेटी, खालिद अंसारी बुनकर नेता, ज़हीर सेराज नगर अध्यक्ष सपा मऊ, अल्ताफ अंसारी पूर्व प्रत्याशी सपा, शफीक डायमंड अध्यक्ष मऊ वेलफेयर ट्रस्ट, कॉमरेड अनिस नगर सचिव CPI, मौलवी इक़बाल मोहम्मदी सचिव मऊ रिलीफ कमेटी , नौशाद अहमद अध्यक्ष बुनकर फलाही काउंसिल, अजय साहू ज़िला अध्यक्ष व्यापार मण्डल मऊ, बसंत कुमार जिला सचिव भाकपा(माले), इत्यादि लोगों ने अपने विचार व्यक्त किए।